हल्द्वानी (दुःखद हादसा) : शादी समारोह में जा रहीं ननद-भाभी को ट्रक ने कुचला, दोनों की मौत
हल्द्वानी समाचार | शादी समारोह में शामिल होने जा रही ननद-भाभी की स्कूटी को रविवार रात करीब 8 बजे ओपन यूनिवर्सिटी के पास ट्रक ने टक्कर मार दी। हादसे में दोनों महिलाओं की मौके पर मौत हो गई। सूचना पर पहुंची पुलिस ने शव कब्जे में लेकर मोर्चरी में रखवा दिए हैं। हादसे के बाद ट्रक चालक फरार हो गया।
जानकारी के मुताबिक डहरिया स्थित नीलियम कॉलोनी निवासी 25 वर्षीय कविता नोलिया पत्नी पंकज नोलिया ननद 30 वर्षीय सविता बिष्ट के साथ शादी में जा रही थीं। कविता के जेठ मदन नोलिया ने बताया कि शाम करीब 7 बजे दोनों स्कूटी से निकली थीं। स्कूटी कविता चला रही थी। उनके पीछे पिता और छोटा भाई जा रहा था।
पुलिस के मुताबिक ओपन यूनिवर्सिटी के पास पीछे से आ रहे बरेली नंबर के एक ट्रक ने स्कूटी में टक्कर मार दी। टक्कर इतनी जोरदार थी कि दोनों महिलाएं स्कूटी से दूर जाकर गिरीं। बताया जा रहा है कि दोनों महिलाओं का सिर ट्रक के पहिए के नीचे आ गया था। पति की सूचना पर पहुंची मंडी चौकी पुलिस ने दोनों महिलाओं को एसटीएच पहुंचाया, जहां डॉक्टरों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया। कोतवाल उमेश कुमार मलिक ने बताया कि शव परिजनों को सौंप दिए। ट्रक कब्जे में ले लिया है।
पंकज के सामने ही ट्रक ने पत्नी-बहन को कुचला
किसे पता था कि जिस बहू को कुछ महीने पहले डोली में बिठाकर घर लाए और दो महीने पहले जिस बेटी को डोली में विदा किया, उन्हीं की अर्थी को बुढ़ापे में कंधा देना पड़ेगा। अपनी आंखों के सामने ही नवविवाहित बेटी और बहू की मौत देखने के बाद से ही बुजुर्ग नारायण सिंह नोलिया सदमे में हैं। वहीं पत्नी और बहन की मौत से पंकज नोलिया भी बदहवास हैं।
डहरिया स्थित नीलियम कॉलोनी निवासी कविता की शादी पंकज नोलिया से नवंबर 2023 में हुई थी। वहीं उनकी ननद सविता की शादी अप्रैल 2023 में हुई थी। कविता के ससुर नारायण सिंह नोलिया एचएमटी से सेवानिवृत्त हैं। परिजनों के मुताबिक रविवार को नारायण सिंह के स्टाफ कर्मचारी के ही घर में शादी समारोह था। समारोह तीनपानी के पास था।
वहां नारायण सिंह अपने बेटे पंकज नोलिया, बहू कविता और बेटी सविता के साथ जा रहे थे। कविता और सविता एक स्कूटी पर थे और उनके पीछे बाइक पर नारायण सिंह और पंकज चल रहे थे। हादसे के समय पंकज की बाइक पीछे थी।
बताया जा रहा है कि ट्रक का अगला पहिया स्कूटी से टकराया और उसके बाद स्कूटी अनियंत्रित होकर गिरी तो दोनों महिलाओं के सिर पहिए के नीचे आ गए। दोनों ने हेलमेट भी पहना था। अपनी आंखों के सामने दोनों को मौत की चपेट में आते देख बुजुर्ग नारायण सिंह और उनके बेटे पंकज की दुनिया जहां थी, वहीं थमकर रह गई। कुछ देर के लिए उन्हें समझ ही नहीं आया कि आखिर यह क्या हो गया है।
इसके बाद उन्होंने कुछ होश संभाला और पुलिस को सूचना दी। इस हादसे के जख्म को वक्त का मरहम भी शायद ही भरपाए। दोनों गहरे सदमें में हैं। आखिर कहां पता था कि जिस दुलारी बेटी को विदा किया था और जिस प्यार से बहू को घर की दहलीज में लाए थे, उन्हीं की अर्थी को कंधा देना पड़ेगा। दोनों की मौत से परिवार में कोहराम मचा है। सविता पिता की इकलौती बेटी थी। परिवार मूल रूप से चंपावत के नौलिया गांव का रहने वाला है।
मौत की खबर पहुंचने के बाद से ही घर पर लोगों का तांता लगना शुरू हो गया। हादसे पर यकीन कर पाना परिजनों के साथ-साथ सगे संबंधियों को भी मुश्किल था। परिजनों से बातचीत करने पर पता चला कि कविता के पति पंकज सरकारी जेम पोर्टल पर कंप्लाइंसेस सर्विसेज मुहैया कराने का काम करते हैं। उनकी खुद की कंपनी है, जिसे वह वीरेंद्र नाम के व्यक्ति के साथ साझेदारी में संचालित करते हैं।